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टोल-फ्री पशु एम्बुलेंस सेवा ने किया बीमार नीलगाय का उपचार



टोल-फ्री पशु एम्बुलेंस सेवा ने किया बीमार नीलगाय का उपचार


विषैले पदार्थ वाली वनस्पति खाने से अचेत हुई नीलगाय, ग्रामीण युवकों की तत्परता से बची जान


करहाँ, मऊ। मुहम्मदाबाद गोहना तहसील के नगपुर गांव के पश्चिमी सीवान अर्थात सुहवल-नगपुर के कियारा में रविवार दोपहर बीमार नीलगाय को देख स्थानीय युवकों ने टोल-फ्री नंबर 1962 पर कॉल करके पशु एम्बुलेंस सेवा बुलाई और इलाज करवाया। तत्काल सूचना पाकर मौके पर पहुंचे एम्बुलेंस सेवा के डॉक्टर पंकज सिंह ने सहयोगियों संग मिलकर किसी विषैली वस्तु को खाकर बीमार नीलगाय का उपचार किया।
मिली जानकारी के अनुसार मुताबिक रविवार दोपहर नगपुर गांव निवासी सकलदीप विश्वकर्मा, अयूष यादव अंचल, अंश श्रीवास्तव, प्रीतम सिंह चंद्रा, अजीत सरोज सद्दाम आदि युवकों ने देखा कि एक नीलगाय एक ही स्थान पर काफी देर से पीछे की तरफ चक्कर लगा रही है। काफी समय तक घूमते-घूमते गिरकर अचेत हो गयी। युवकों ने किसी अनजानी बीमारी की आशंका से तुरंत 1962 टोल-फ्री नंबर पर कॉल करके सूचित किया। कुछ ही समय बाद मौके पर पहुंचे चालक प्रवीन्द कुमार के एम्बुलेंस चिकित्सक डॉक्टर पंकज कुमार यादव अपने पैरावेट सहयोगी सुमित कुमार के साथ पहुंचे और जांच कर बीमार नीलगाय का इलाज किया। उन्होंने बताया कि इस नीलगाय ने किसी विषैले पौधों को खा लिया है। हो सकता है किसी फसल में दवा का छिड़काव हुआ हो और उसको खाकर वह इस स्थिति में आई हो।


हालांकि सकारात्मक पहल यह कही जा सकती है कि ग्रामीण युवकों एवं पशु एम्बुलेंस सेवा की तत्परता से एक बेजुबान जानवर की जान बच गयी। इसके सकारात्मक पक्ष की सराहना यह है कि तत्काल सक्रिय हुए युवकों एवं एम्बुलेंस कर्मियों की मदद से इस तरह की परिस्थितियों में बीमार नीलगाय का इलाज संभव हो सका। इसकी क्षेत्र में चर्चा-ए-खास रही।


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