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कैंसर से बचाव हेतु खानपान व जीवनशैली में बदलाव जरूरी : डॉ. सेन पाठक

कैंसर से बचाव हेतु खानपान व जीवनशैली में बदलाव जरूरी : डॉ. सेन पाठक

करहाँ (मऊ) : राजा गाधि की नगरी गाधिपुरी गाज़ीपुर के बलदेव श्रीधर नर्सिंग इंस्टीट्यूट भवरहा, पांडेपुर राधे में अमेरिकी कैंसर वैज्ञानिक डॉ. सेन पाठक के मुखारबिंद से एक सेमिनार का आयोजन किया गया। इसमें मानवीय जीवन मे वैदिक सिद्धान्तों की चर्चा की गई। साथ ही गाँव के एक बालक की अमेरिका तक के सफर पर भी प्रकाश डाला गया।

कार्यक्रम की शुरुआत सरस्वती पूजन से हुई। मुख्य अतिथि डॉ. सेन पाठक ने माँ वीणावादिनी के चित्र पर पूजन-अर्चन, तिलक-चंदन, धूप-दीप, नैवेद्य, पुष्पार्चन-माल्यार्पण कर दीप प्रज्वलित किया। तत्पश्चात कॉलेज प्रबंधन की तरह से उनका बैज अलंकरण, अंगवस्त्र, पुष्प गुच्छ व स्मृति चिह्न भेंटकर स्वागत किया गया।

सेमिनार में कैंसर इंस्टीट्यूट ह्यूस्टन अमेरिका के प्रख्यात कैंसर वैज्ञानिक एमडी एंडरसन डा. सेन पाठक ने स्लाइड व प्रोजेक्टर के माध्यम से विद्यार्थियों के बीच कैंसर के कारण, लक्षण व उपायों के बारे में प्रकाश डाला। साथ ही भारत के सनातन वैदिक ज्ञान का आधुनिक वैज्ञानिक शोधों से सहसंबंध भी स्थापित किया। डा. पाठक ने बताया कि भारतीय वैदिक सनातन संस्कृति पहले से ही ऐसे अनेक ज्ञान से भरी पड़ी है, जिसे अमेरिका जैसे विकसित देश अब शोध कर रहे हैं।

शाकाहार, योग, प्राणायाम, ध्यान, व्यसन व नशा से दूर रहना हमारे धर्म व जीवनशैली का हिस्सा रहा है। आज की वर्तमान पीढ़ी इसकी अवमानना करने से ही अनेक शारीरिक व मानसिक बीमारियों की चपेट में आती जा रही है। बताया कि कैंसर भारत में एक महामारी के रूप में फैलता जा रहा है। इसलिए हमें पुनः अपने पुराने ज्ञान के अनुसार खानपान व जीवनशैली में सुधार करना आवश्यक है। बताया कि मांसाहार, मद्यपान, धूम्रपान, रासायनिक व तले-भुने आहार तथा प्रदूषण कैंसर के प्रमुख कारण हैं।

शरीर में विटामिन ए की कमी, रसायन व दवाइयों के अधिक प्रयोग व फास्टफूड संस्कृति से हमें बचना होगा। यदि वजन कम हो रहा हो, अत्यधिक थकान कमजोरी या शरीर के किसी हिस्से में मांशपेशियों की वृद्धि हो रही हो तो चिकित्सक से संपर्क करें।

कार्यक्रम में विशिष्ट अतिथि पूर्व विधायक कालीचरण राजभर, अशीत पाठक, प्रमोद कुमार शुक्ल, तारकेश्वर सिंह अजीत सहित कॉलेज प्रबंधक, स्टाफ एवं सैकड़ों छात्र-छात्रायें उपस्थिति रहे।



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